रतलाम, वंदेमातरम् न्यूज। जिला मुख्यालय के समीप ग्राम सांवलिया रूंडी की एक महिला ने अपने जेठ और उसके बेटों पर घर में घुसकर अश्लील हरकतें करने, जानलेवा हमला करने और धमकी देने का सनसनीखेज आरोप लगाया है। महिला का दावा है कि आरोपियों ने बचाव करने पहुंचे देवर पर कुल्हाड़ी और तलवार से हमला किया जिससे उसे गंभीर चोटें आईं और वह अस्पताल में जिंदगी और मौत के बीच झूल रहा है।
सबसे चौंकाने वाली बात यह है कि पीड़िता के अनुसार जब वह रिपोर्ट लिखवाने रतलाम के थाना दीनदयाल नगर ( डीडी नगर पुलिस) पहुंची, तो पुलिस ने पूरे घटनाक्रम को ही बदलकर हल्की धाराओं में मामला दर्ज कर लिया। महिला ने आरोप लगाया है कि थाने के एक पुलिसकर्मी ने कहा ” आरोपी के नग्न होकर घर में घुसने वाली बात मत बताओ, तुम्हारी बदनामी हो जाएगी।” पीड़िता ने अपने आवेदन में लिखा है कि यदि पुलिस ही आरोपियों के साथ मिल जाए, तो एक महिला अपनी इज्जत और जान की रक्षा कैसे करे? उसने कहा, “मेरे साथ इतनी बेइज्जती हुई, लेकिन कोई सुनवाई नहीं। अब मेरे पास आत्महत्या के अलावा कोई रास्ता नहीं बचा है।”
घटना की भयावह रात
पीड़िता के अनुसार घटना 22 जुलाई 2025 की रात लगभग 8 बजे की है। वह अपने बच्चों के साथ घर में थी तभी उसका जेठ थावर, नग्न अवस्था में कुल्हाड़ी लिए घर में घुस आया। उसने अश्लील गालिया दीं और अश्लील हरकतें करने लगा। डरी-सहमी महिला और उसके बच्चों के चिल्लाने पर देवर कैलाश बचाव के लिए दौड़ा। तभी थावर के बेटे दिनेश (हाथ में तलवार) और राजू भी मौके पर पहुँच गए। तीनों ने मिलकर कैलाश पर हमला कर दिया।
कुल्हाड़ी से किया सिर पर वार, 18 टांके आए
पीड़िता के अनुसार थावर ने कैलाश के सिर पर कुल्हाड़ी से वार किया जिससे गंभीर चोटें आईं और खून बहने लगा। दिनेश ने पीठ पर तलवार से वार किया। घायल अवस्था में कैलाश को तत्काल जिला अस्पताल ले जाया गया, जहां उसके सिर पर 18 टांके लगे और आज भी वह ICU में भर्ती है। हमले के बाद तीनों आरोपी फरार हो गए, लेकिन जाते-जाते धमकी दे गए कि “आज तो बच गए हो, लेकिन अगली बार जान से मार देंगे। अगर रिपोर्ट की, तो अंजाम बहुत बुरा होगा।”
पुलिस कर्मी पर घटना बदलकर सरंक्षण का आरोप
घटना की सूचना के बाद पीड़िता ने दीनदयाल नगर थाना से संपर्क किया। आरोप है कि पुलिस ने उन्हें पहले रिपोर्ट दर्ज करने से रोका, फिर बुलाकर कहा कि “नग्नता और अश्लीलता की बात मत लिखवाओ, तुम्हारी बदनामी होगी।” पीड़िता की ओर से रतलाम एसपी अमित कुमार को की गई शिकायत में गंभीर आरोप लगाते हुए बताया कि पुलिसकर्मी ने आरोपी से सांठगांठ कर उसके बयान को पूरी तरह बदल दिया गया। आरोपियों द्वारा की गई गंभीर घटनाओं को नज़रअंदाज़ कर रिपोर्ट को सामान्य रास्ते के विवाद में बदल दिया गया। जब अस्पताल में रिपोर्ट की प्रति पीड़िता को पढ़कर सुनाई गई, तब उसे वास्तविकता का पता चला।