रतलाम, वंदेमातरम् न्यूज।
रॉयल हॉस्पिटल एंड रिसर्च सेन्टर सालाखेड़ी पर एक दिवसीय ऐलोपेथी के चिकित्सकों की सीएमई का आयोजन किया गया।मुख्य अतिथि जिला चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी रतलाम डॉ. प्रभाकर नानावरे रहे तथा विशिष्ट अतिथि के रूप में रतलाम सिविल सर्जन डॉ आनंद चंदेलकर एवं डॉ निर्मल जैन उपस्थित रहे। अध्यक्षता रॉयल हॉस्पिटल के चेयरमेन प्रमोद गुगालिया ने की।

अथितियों का स्वागत संस्था अध्यक्ष प्रमोद गुगालिया, रॉयल ग्रुप के डायरेक्टर डॉ. उबेद अफजल एवं रॉयल हॉस्पिटल के डॉक्टर्स डॉ. शमशुल हक, डॉ. आदित्य पाटीदार, डॉ. आशिता ठाकुर ने किया। स्वागत भाषण में संस्था के चेयरमेन गुगालिया ने बताया कि उनका हॉस्पिटल सर्वसुविधायुक्त है और यहॉ अत्याधुनिक जांच मशीनें स्थापित की गई है। गरीबों को कम से कम राशि में उनका ईलाज करना हमारी प्राथमिकता है। उन्होनें यह भी बताया कि, आगामी महीनों में वो रॉयल हॉस्पिटल को सुपर स्पेशिलिटी हॉस्पिटल के रूप में तैयार करने जा रहे है, ताकि रतलाम और आस पास के मरीजों को बडे़ शहरों में जाकर महंगा ईलाज ना करवाना पड़े। मुख्य अतिथि डॉ. नानावरे ने इस सीएमई के माध्यम से मेडिकल साइंस के क्षेत्र में नई बीमारियों के संबंध में जानकारी दी एवं स्वास्थ्य देखभाल प्रदाताओं की समृद्धि के लिए महत्वपूर्ण बताया। उन्होनें रॉयल ग्रुप चेयरमैन गुगालिया को उनके हॉस्पिटल द्वारा ग्रामीण क्षेत्र में लगातार निःशुल्क केम्प आयोजित करने के कार्य की सराहना की।
बीमारियों के लक्षण के बताए उपाय
सीएमई के मुख्य वक्ता के रूप में डॉ. पवन कुमार शर्मा एसोसिएट प्रोफेसर, शा. मेडिकल कॉलेज, रतलाम ने सीएसएफ राइनोरिया पर उद्बोधन दिया। दूसरे वक्ता के रूप में डॉ धुरवेन्द्र पांडे एसोसिएट प्रोफेसर, गवर्नमेंट मेडिकल कॉलेज रतलाम ने ट्यूबरकुलोसिस प्रीवेंटिव थेरेपी पर विचार व्यक्त किए। जिला मलेरिया अधिकारी डॉ. प्रमोद प्रजापति द्वारा डेंगू बीमारी के जांच लक्षण उपचार के संबंध में जानकारी दी। कार्यक्रम में विभिन्न चिकित्सकों द्वारा पूछे गए प्रश्नों का उत्तर वक्ताओं ने दिए। संचालन रॉयल हॉस्पिटल प्रशासक दिनेश राजपुरोहित तथा आभार डायरेक्टर डॉ. उबेद अफजल ने माना।